Wednesday, August 20, 2014

ये मसाले दवा का भी काम करते हैं

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भारतीय रसोई का हर एक मसाला कई तरह के औषधीय गुुणों से भरपूर है। मसाले खाने को चटपटा तो बनाते ही हैं। साथ ही, हमारी सेहत को बेहतर बनाने में भी मददगार होते हैं। हिन्दुस्तान के परंपरागत औषधि ज्ञान के तौर पर अनेक घरों में इन मसालों को कई हर्बल नुस्खों के तौर पर अपनाया जाता है। आदिवासी अंचलों में तो इनका इस्तेमाल कई घातक बीमारियों के इलाज में भी किया जाता है। चलिए आज जानते हैं, मसालों से जुडे कुछ रोचक हर्बल नुस्खों के बारे में:
  • भारतीय किचन में जीरा सबसे प्रचलित मसाला है। जीरा एसिडिटी की प्रॉब्लम में रामबाण का काम करता है। एसिडिटी होने पर कच्चे यानी बगैर भुने जीरे की फांकी 1/4 चम्मच मात्रा में लें। इसे दिनभर में 5-6 बार लेने से एसिडिटी खत्म हो जाती है।
  • डांग गुजरात के आदिवासी थायरॉइड की समस्या में पालक व जीरे का उपयोग करते हैं। एक प्याला पालक के रस के साथ एक चम्मच शहद और चौथाई चम्मच जीरे का चूर्ण मिलाकर लें। माना जाता है कि इसके सेवन से थाइरॉइड की समस्या में बहुत लाभ होता है।
  • किचन में उपयोग में लाया जाने वाला अदरक औषधीय गुणों से भरपूर है। सभी प्रकार के जोड़ों की समस्याओं में यह अचूक दवा है। रात को सोते समय लगभग 4 ग्राम सूखा अदरक, जिसे सौंठ कहा जाता है, नियमित रूप से लेना चाहिए। स्लिपडिस्क में इसकी इतनी ही मात्रा चूर्ण रूप में शहद के साथ ली जानी चाहिए।
  • पुराने गठिया रोग में अदरक एक बहुत लाभदायक औषधि है। लगभग 5 ग्राम अदरक का रस और अरंडी का तेल (आधा चम्मच) लेकर दो कप पानी में उबाल लें। जब पानी आधा शेष रह जाए तो रात को सोने से पहले इसका सेवन करें। धीरे-धीरे तकलीफ में आराम मिलना शुरू हो जाता है। आदिवासियों का मानना है कि ऐसा लगातार 3 माह तक करने से हर तरह का जोड़ दर्द छू-मंतर हो जाता है।
  • बालों में रूसी होने पर मेथी दानों का पेस्ट बालों में लगाएं। आधे घंटे बाद धो लें और बालों को सूती कपड़े से पोंछ लें। रूसी दूर हो जाएगी।
  • दालचीनी रसोई में अक्सर काम में आने वाला एक महत्वपूर्ण मसाला है। जिन लोगों को वात की शिकायत होती है, उन्हें दालचीनी के तेल से दर्द वाले हिस्सों पर मालिश करनी चाहिए।
  • आदिवासी आर्थराइटिस के रोगियों को दालचीनी के छाल का चूर्ण और शहद से बने पेस्ट को दर्द वाले हिस्सों पर लगाने की सलाह देते हैं। साथ ही, एक कप गुनगुने पानी में शहद और दालचीनी का चूर्ण मिलाकर रोगी को पीने के लिए भी कहा जाता है।
  • मेथी भी एक जबरदस्त सेहतमंद मसाला है। 1 चम्मच मेथी दाना को पानी के साथ निगलने से अपचन की समस्या दूर होती है। मेथी के बीज आर्थराइटिस और साईटिका के दर्द से निजात दिलाने में मदद करते हैं। करीब 1 ग्राम मेथी दाना पाउडर और सौंठ पाउडर को मिलाकर थोड़े से गर्म पानी के साथ दिन में दो-तीन बार लेने से लाभ होता है।
  • हल्दी किचन मेें उपयोग किया जाने वाला सबसे आम मसाला हैे। यह कई तरह के औषधीय गुणों से भरपूर है। खांसी होने पर गर्म दूध में हल्दी डालकर पीने से राहत मिलती है। दूध रात को सोने से पहले पिएं। 


साभार: भास्कर समाचार
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